Modinagar : राष्ट्रीय सूचना अधिकार टास्क फोर्स ट्रस्ट के राष्ट्रीय अध्यक्ष सुरेश शर्मा ने कहा है कि मोदीनगर तहसील की स्थापना वर्ष 1990 में हुई थी। खेद का विषय है कि आज तक मुंशिफ व ग्रामीण न्यायालय की स्थापना नहीं हुई।
बताते चले कि मोदीनगर के अधिवक्ताओं सहित विभिन्न राजनीतिक व सामाजिक संगठनों से जुड़े प्रतिनिध ने अनेकों बार धरना प्रदर्शन करते हुऐ यंहा मुंसिफ व ग्रामीण न्यायालय की स्थापना करायें जाने की मांग गतवषा्रें से उठाते चले आ रहे है, लेकिन केन्द्र व प्रदेश में भाजपा की सरकार होने के बाबजूद आज तक भी यंहा मुंसिफ व ग्रामीण न्यायालय की स्थापना नही हो सकी। जिसके कारण यंहा का आमजन सांसद व विधायक के रवैये से नाराज है। जबकि मोदीनगर तहसील के अतिरिक्त कई तहसीलों में मुंसिफ व ग्रामीण न्यायालयों की स्थापना हो चुकी है। आरोप है कि न्यायालय की स्थापना को लेकर सरकार सौतेला व्यवहार बरत रही है । सुरेश शर्मा का कहना है कि तहसील क्षेत्र के लोगों की आर्थिक स्थिति दयनीय है। जबकि यहाँ पर अधिकांश फैक्ट्रियां बंद हो चुकी है और जिला न्यायालय गाजियाबाद जाने के लिए लोगों को करीब तीस किलो मीटर दूर जाना पड़ता है। जिससे पैसे की बर्बादी तो होती ही है, समय भी बर्बाद होता है। उन्होंने इस मामले में सांसद व विधायक से हस्तक्षेप कर शीघ्र मुंसिफ व ग्रामीण न्यायालय स्थापित करायें जाने की मांग की है।