Modinagar प्रथमा यूपी ग्रामीण बैंक की फर्जी मोहर का इस्तेमाल कर फर्जी एनओसी प्रमाण पत्र तैयार कर अन्य बैंक से लोन लेने फिर उक्त कृषि भूमि को बेचने का मामला सामने आया है। बैंक प्रबंधक की तहरीर पर निवाड़ी पुलिस ने एक महिला सहित चार के खिलाफ धोखाधड़ी सहित अन्य धाराओं में रिपोर्ट दर्ज की है।
कस्बा निवाड़ी स्थित प्रथमा यूपी ग्रामीण बैंक के प्रबंधक रोहित कुमार ने बताया कि गांव भनेड़ा निवासी रतन सिंह ने जुलाई 2017 में बैंक से 4.56 लाख रुपये का किसान केडिट कार्ड बनवाया था। जिस कारण लोन की रकम उनकी फरद पर चढ़ गई थी। किसान केडिट कार्ड बनवाने के कुछ समय बाद रतन सिंह की मौत हो गई थी। आरोप है कि रतन सिंह की मौत के बाद उनके रिश्तेदार पवन, संतराम, संजय कुमार व आदेश देवी ने किसान केडिट कार्ड की रकम बैंक में जमा नहीं की। आरोप है कि इन लोगों ने बैंक की फर्जी मोहर व रसीद तैयार कर एनओसी प्रमाण पत्र तैयार कर उसे मोदीनगर तहसील के राजस्व निरीक्षण को दे दिया। तहसील अधिकारियों व कर्मचारियों ने भी बिना सत्यापन करे ही उक्त कृषि भूमि इन चारों के नाम कर दी। जमीन नाम होने के बाद इन लोगों ने मोदीनगर व मुरादनगर के अलग अलग बैंकों से लाखों रुपये का ऋण ले लिया। इतना नहीं संतराम ने बिना लोन जमा किए उक्त कृषि भूमि को बेच दिया। जब दाखिल खारिज होने के लिए आया, तो यह मामला उजागर हुआ। बैंक प्रबधंक ने वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक से मिलकर पूरे प्रकरण से अवगत कराया। इसके बाद वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक पवन कुमार ने निवाड़ी थाना प्रभारी को रिपोर्ट दर्ज करने के आदेश दिए। निवाड़ी थाना प्रभारी मनोज कुमार ने बताया कि बैंक प्रबंधक की तहरीर पर पवन, संतराम, संजय कुमार व आदेश देवी निवासी गांव भनेड़ा के खिलाफ धारा 420,467,468, 471 में रिपोर्ट दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।

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