पंचमणि टावर की 14वीं मंजिल पर मंगलवार शाम करीब 7:15 बजे सीआरपीएफ के रिटायर डीजीपी के फ्लैट में आग लग गई। भीषण आग से लोगों में भाग दौड़ मच गई। गार्ड और अन्य स्टाफ ने आग बुझाने का प्रयास किया, मगर आग बेकाबू होते ही दमकल विभाग को सूचना दी गई। छह गाड़ियां मौके पर पहुंचीं। स्टाफ ने टावर की लाइट काटकर लोगों को सीढ़ियों के रास्ते बाहर निकाला। आग लगने का कारण बिजली मीटर पैनल में शॉर्ट सर्किट माना जा रहा है।
सीआरपीएफ में डीजीपी के पद से रिटायर्ड आईपीएस जेपी वर्मा (80) पत्नी निर्मला (75) बेटे ऐश्वर्य और बहू व दो पोतियों सुमायरा और मायसा के साथ 14वें फ्लोर पर फ्लैट नंबर 1405 में रहते हैं। टावर में 84 फ्लैट हैं। मंगलवार शाम सात बजे निर्मला और उनकी मेड किचन में खाना बना रही थी। जबकि बहू दूसरे कमरे में थीं। बेटे ऐश्वर्य किसी काम से इंदिरापुरम गए थे। छोटी पोती नीचे सोसायटी में घूम रही थी। अचानक कमरे में धुआं निकलते देख बड़ी पोती सुमायरा ने निर्मला को बताया। परिवार के लोग बालकनी में गए तो वहां आग लग रही थी। लोगों ने आग बुझाने का प्रयास किया, लेकिन फ्लैट में रखे सामान में जोरदार ब्लास्ट से आग तेजी से फैलती गई। करीब 10 मिनट बाद यूपी गेट किसान आंदोलन स्थल से दमकल का गाड़ी मौके पर पहुंची। सीढ़ियों के रास्ते लोगों को सकुशल निकाला गया बाहर :
आग फैलने पर लोगों ने सूझबूझ से काम किया। मेंटेनेंस कर्मचारियों ने सबसे पहले बिजली मीटर पैनल की लाइट काट दी। लेकिन लिफ्ट बंद होने से लोगों में अफरातफरी मच गई। इस पर युवा और अन्य लोगों ने मदद का हाथ बढ़ाकर तुरंत सभी को सीढ़ियों के रास्ते सकुशल बाहर निकालना शुरू कर दिया। सभी लोग नीचे कार पार्किंग में इकट्ठा हो गए।
जान जोखिम में डालकर दमकल कर्मियों ने पाया काबू :
आग की घटना में दमकल कर्मियों ने अपनी जान जोखिम में डालकर उस पर काबू पाया। आग की तपन से जब फ्लैट की फोरसीलिंग, छत, बालकनी, प्लास्टर, प्लास्टिक, लोहे और लकड़ी का सामान टूटकर गिर रहा था। तब दमकल कर्मी अपनी परवाह न करके होज पाइप से आग को बुझाने में जुटे हुए थे। सीएफओ सुनील सिंह, फायरमैन पीयूष, विजय, दीपक, जोगेंद्र और सौरभ ने बेडरूम, ड्राइंग रूम व अन्य जगहों पर आग बुझाने में जुटे रहे। करीब दो घंटे की कड़ी मशक्कत से आग पर काबू पा लिया गया ।