Disha Bhoomi

Modinagar | हिन्दू धर्म में पूर्णिमा तिथि बहुत शुभ मानी जाती है। वहीं शरद ऋतु के प्रारंभ की अनुभूति शरद पूर्णिमा के दिन से होती है। शारदीय नवरात्रि के बाद पड़ने वाली पहली पूर्णिमा को ही शरद पूर्णिमा कहते हैं। मान्यता है कि इस दिन चंद्रमा की किरणों से अमृत बरसता है और इसलिए इसकी रोशनी शरीर पर पड़ना शुभ होता है।
पौराणिक मान्यता है कि मां लक्ष्मी का समुद्र से आविर्भाव शरद पूर्णिमा के दिन हुआ था। इसी कारण इस दिन मां लक्ष्मी धरती में आती है और अपने भक्तों पर कृपा बरसाती है। हिन्दू धर्म शास्त्रों के अनुसार माना जाता है कि शरद पूर्णिमा के दिन भगवान श्रीकृष्ण ने महारास किया था इसलिए इसे रास पूर्णिमा के नाम से भी जानते हैं। इसके अलावा कुछ पौराणिक मान्यताओं के अनुसार शरद पूर्णिमा के दिन शिव-पार्वती के पुत्र कार्तिकेय जी का जन्म हुआ था। जहां उत्तर भारत में दूध-चावल की खीर बनाकर शरद पूर्णिमा के दिन रात भर चाँदनी की रोशनी में रखने की परंपरा है। वहीं पश्चिम बंगाल और उड़ीसा में शरद पूर्णिमा के दिन कुंवारी कन्याएं सुबह स्नान के बाद सूर्यदेव और चन्द्रमा की पूजा करती हैं। माना जाता है कि जो कन्या इस दिन सच्चे मन से व्रत रखकर पूजा करती है उसे मनचाहा वर प्राप्ति का आशीर्वाद मिलता है।
शरद पूर्णिमा 2022 शुभ मुहूर्त
शरद पूर्णिमा रविवार, अक्टूबर 9, 2022 को
शरद पूर्णिमा के दिन चन्द्रोदय – 05ः51 पी एम
पूर्णिमा तिथि प्रारम्भ – अक्टूबर 09, 2022 को 03ः41ए एम बजे
पूर्णिमा तिथि समाप्त – अक्टूबर 10, 2022 को 02ः24 ए एम बजे
इस दिन चंद्र दर्शन करने से व्यक्ति हर बीमारी से छुटकारा पा सकता है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, शरद पूर्णिमा के दिन कुछ खास उपाय करके व्यक्ति हर समस्या छुटकारा पा सकता है। इसके साथ ही धन वैभव, खुशहाली और संपदा पा सकता है। आइए जानते हैं शरद पूर्णिमा पर कौन से उपाय करने चाहिए।
पैसों की तंगी के लिए
आर्थिक स्थिति को मजबूत करने के लिए शरद पूर्णिमा की रात मां लक्ष्मी की पूजा करने के साथ 5 कौड़ियां मां के चढ़ाएं। दूसरे दिन लाल या पीले रंग के कपड़े में इन कौड़ियों को लपेटकर तिजोरी में रख लें।
निरोगी रहने के लिए
अगर घर का कोई न कोई सदस्य बीमार रहता है, शरद पूर्णिमा के रात को छत में खीर रख दें। दूसरे दिन रोगी को इसका सेवन कराएं।
बिजनेस और नौकरी में मुनाफा के लिए
बिजनेस में लगातार बढ़ोतरी के साथ नौकरी में प्रमोशन के लिए शरद पूर्णिमा के दिन हनुमान जी के सामने चौमुखी दीपक जलाएं।
तुलसी पूजा
शरद पूर्णिमा के दिन स्नान करने के बाद तुलसी पूजा करें और शाम को दीपक जलाएं। ऐसा करने से सुख-समृद्धि की वृद्धि होगी।
लगाएं सफेद भोग
मां तुलसी को सफेद रंग की कोई मिठाई का भोग लगाएं। ऐसा करने से मां लक्ष्मी के साथ भगवान विष्णु की कृपा प्राप्त होती है।
मां लक्ष्मी को लगाएं ये भोग
शरद पूर्णिमा पर मां लक्ष्मी को सिंघाड़ा, दही, मखाना, बताशा और पान का भोग लगाएं। ऐसा करने से मां लक्ष्मी की कृपा बनी रहेगी।
आंख रहेगी दुरुस्त
माना जाता है कि शरद पूर्णिमा के दिन चंद्रमा की रोशनी से अमृत बरसता है। इसलिए इस दिन त्राटक क्रिया जरूर करें।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *