Modinagar । चाइनीज उत्पादों से बढ़ती बेरुखी का असर दिवाली पर होने वाली सजावट में दिखने लगा है। ग्राहक चाइनीज झालरों से दूरी बनाकर मेड इन इंडिया झालरों की ओर से आकर्षित हो रहे हैं। व्यापारियों का कहना है कि भले ही भारत में बनने वाली झालरों की कीमत चीनी झालरों से कुछ महंगी हों, लेकिन अधिकतर ग्राहक दुकान पर पहुंचते ही चाइनीज झालर न दिखाने की बात कहकर खरीदारी कर रहे हैं।
चीन से दुश्मनी रिश्ते और दूसरी तरफ कोरोना संक्रमण का अभिशाप देने वाले देश में बनी झालरों से दीपावली पर अपने घर को न जगमगाने की जैसे ग्राहकों ने जिद ठान ली है। व्यापारियों का कहना है कि पिछले साल की तुलना में देखें तो चाइनीज झालरों का बाजार इस बार 50 फीसद कम हो गया है। भले ही करोड़ों का माल बाजार में उपलब्ध हो लेकिन ग्राहक कहकर मेड इन इंडिया झालर और बल्बों की खरीदारी कर रहे हैं।
मांग बढ़ने से बढ़ी वैरायटी
इस दीपावली देश में निर्मित झालरों से घर को सजाने में ग्राहक ज्यादा उत्सुक दिखाई दे रहे हैं। वे चाइनीज झालरों के विकल्प मांग रहे हैं। यही वजह है कि मेड इन इंडिया झालर की मांग बढ़ने से इसकी वैरायटी भी बढ़ गई है। इसमें तरह.तरह के फूलों के साथ ही भगवान लक्ष्मी, गणेश आदि डिजाइन हैं जो ग्राहकों को अपनी ओर खींच रहे हैं।
व्यापारी सतेन्द्र गुप्ता कहते है कि चाइनीज झालरों की पूछ यही रही तो वह समय दूर नहीं जब चीनी उत्पादों का आयात ही बंद हो जाएगा।
रोहित अग्रवाल कहते है कि कोरोना संक्रमण के बाद से लोगों में जागरूकता दिखाई दी है। ग्राहकों की मांग के अनुसार व्यापारी भी मेड इन इंडिया की वैरायटी बढ़ा रहे हैं।

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