देश को स्वतंत्र कराने में जिन लोगों ने अपने प्राणों की आहुति के द्वारा क्रांति की अग्नि को और अधिक प्रज्वलित किया उनमें राजगुरु, भगतसिंह, बिस्मिल और सुखदेव को विशेष रूप से स्मरण करते हुए धौलड़ी आर्य समाज ने बलिदान दिवस के उपलक्ष्य में प्रेरणा समारोह का आयोजन किया । आज के पुरोहित आर्य मनेंद्र जी ने इस कार्यक्रम का सफल मंच संचालन किया और बताया कि वेद हमें मनुर्भव अर्थात् सबसे पहले हमें मनुष्य बनने की प्रेरणा देता है इसलिए हमें वेदों को जाना चाहिए । 3 घंटे के इस कार्यक्रम में सबसे पहले चरण में हमने भजन-उपदेशक कृष्णपाल जी द्वारा सुंदर-सुंदर मनोहर भजनों का आनंद लिया और उन्हीं के साथ भजन उपदेशक आर्या रीना जी ने भी अपने भजनों के द्वारा सभा को आनंदविभोर कर दिया । दूसरे चरण में मोदीनगर से आए हुए आर्य नारायण सिंह जी ने होली के विषय मे अनेक जानकारीयाँ दी । इस कार्यक्रम के तीसरे चरण में मुख्य वक्ता के रूप में उपस्थित हुए आचार्य अवनीश जी ने आए हुए जनसमूह को संबोधित करते हुए बलिदान दिवस की इस पावन बेला पर बलिदान दाताओं के क्रांति पूर्ण विचारों से अवगत कराया । स्वतंत्रता के लिए आंदोलन का समय और आधुनिक समय इन दोनों की तुलना करते हुए आचार्य अवनीश जी ने बताया कि जिस प्रकार की क्रांति की आवश्यकता आंदोलन के समय थी ठीक उसी प्रकार की क्रांति की आवश्यकता इस आधुनिक समय में भी है । उस क्रांति के समय में जिनके द्वारा राजगुरु, सुखदेव, बिस्मिल और भगत सिंह जैसे बलिदान दाता प्रेरित हुए वे हमारे वेद ही हैं । किस प्रकार हमारे इन बलिदानदाताओं का जीवन वेदों से प्रभावित हुआ है उनसे संबंधित घटनाओं पर आचार्य अवनीश जी ने प्रकाश डाला । उनके वक्तव्य का प्रत्येक क्षण सभा में आए लोगों को प्रेरित करने वाला रहा । उन्होंने बताया किस प्रकार हम भी वेदों से जुड़कर अपने जीवन में परिवर्तन ला सकते हैं । आचार्य जी ने कहाँ जहा शोषण है वही क्रान्ति की आवश्यकता हैं।
अंत में खानपुर से आए हुए इस सभा के अध्यक्ष सौदान सिंह जी ने अपने विचारों को प्रकट करते हुए कहा कि हमें अपने जीवन में प्रतिदिन संध्या उपासना करनी चाहिए । सप्ताह या मास में एक बार यज्ञ अवश्य करना चाहिए । और धन्यवाद ज्ञापन करते हुए अंत में इन्कलाब जिन्दा बाद और
‘कृण्वन्तो विश्वमार्यम्’ के जयघोष से अपनी वाणी को विराम दिया । कार्यक्रम में मेरठ जनपद के धौलड़ी आर्य समाज के प्रधान पवन जी, मंत्री आर्य रामकुमार जी कोषाध्यक्ष आर्य कालूराम जी आशीष प्रजापति जी आर्य उज्जवल जी आर्य अतुल जी आर्य राकेश जी और मोदीनगर से संस्कृत भारती संगठन के जिला संयोजक गोपाल जी और जिला संपर्क प्रमुख उदय चंद्र झा जी सम्मिलित हुए । अन्य बच्चों और युवाओं ने कार्यक्रम में आगे की योजनाओं को जाना और कार्यक्रम को सफल बनाने में सहयोग दिया ।

Disha Bhoomi News
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