उत्तर प्रदेश बेसिक शिक्षा परिषद के प्राथमिक, उच्च प्राथमिक और मान्यता प्राप्त बेसिक विद्यालयों के लिए इस साल की हॉलिडे लिस्ट (Holiday List) बुधवार को जारी हो गई. पहली बार 24 नवंबर को सिखों के 9वें गुरु तेग बहादुर शहीद दिवस का अवकाश घोषित किया. इस साल 2021 के दौरान स्कूलों में 30 दिन छुट्टी रहेगी, जबकि 5 दिन विशेष दिवस पर स्कूल तो खुलेंगे, लेकिन पढ़ाई नहीं होगी. इस बार नया साल शुरू होने के बाद अवकाश तालिका जारी हुई है. इस कैलेंडर में पहला हॉलिडे 14 जनवरी (मकर संक्रांति) का है. स्थानीय स्तर पर जिलाधिकारी (District Magistrate) अवकाश दे सकते हैं.
नहीं मिलेगी एक्स्ट्रा छुट्टी
उत्तर प्रदेश बेसिक शिक्षा परिषद सचिव प्रताप सिंह बघेल ने सभी बीएसए (BSA) को ये भी निर्देश दिया गया है कि अवकाश तालिका के अलावा कोई अवकाश (Holiday) किसी भी स्तर पर नहीं दिया जाएगा.
पढ़ाई में एक घंटे की बढोत्तरी
पहली अप्रैल से 30 सितंबर तक पढ़ाई में एक घंटे की बढ़ोतरी हुई है, पहले स्कूल 8 से 1 बजे तक चलते थे, अब 8 से दोपहर 2 बजे तक खुले रहेंगे. वहीं गर्मियों की छुट्टियों में कटौती हुई है, जबकि शीतकालीन अवकाश (winter vacation) शुरू किया गया है. दीपावली पर स्कूलों में 4 दिन की छुट्टी रहेगी.
ग्रीष्मकालीन अवकाश- स्कूलों में 20 मई से 15 जून तक ग्रीष्मावकाश रहेगा
शीतकालीन अवकाश- 31 दिसंबर से 14 जनवरी तक शीतकालीन अवकाश रहेगा.
इन मौकों पर महिला टीचरों को मिलेगी छुट्टी
मुस्लिम त्योहार चंद्र दर्शन के अनुसार बदल सकते हैं. हरितालिका तीज, करवाचौथ, संकट चतुर्थी, हलषष्ठी और अहोई अष्टमी में केवल महिला टीचरों को ही अवकाश दिया जाएगा.
यूपी बेसिक शिक्षा परिषद (Uttar Pradesh Basic Education Council) ने पहली बार 24 नवंबर को गुरु तेग बहादुर शहीद दिवस का अवकाश घोषित किया. सिख इतिहास कुबार्नियों से भरा है, 9वें गुरु श्री गुरु तेग बहादुर जी की शहीदी की मिसाल पूरी दुनिया में नहीं मिलती. उन्होंने धर्म की रक्षा के लिए अपने प्राणों का बलिदान दिया था. वो प्रेम, त्याग और बलिदान के सर्वोच्च प्रतीक हैं.
विश्व इतिहास में अमर है श्री तेग बहादुर जी
विश्व इतिहास में धर्म और मानवीय मूल्यों, आदर्शों एवं सिद्धांत की रक्षा के लिए प्राणों की आहुति देने वालों में श्री गुरु तेग बहादुर जी का स्थान अद्वितीय है. श्री गुरु तेग बहादुर जी का जन्म पंजाब के अमृतसर में श्री गुरु हरगोबिंद साहिब जी के घर हुआ. वो बाल्यकाल से ही धार्मिक, निर्भीक, विचारवान और दयालु स्वभाव के थे. दिल्ली स्थित गुरुद्वारा श्री शीश गंज साहिब और गुरुद्वारा श्री रकाब गंज साहिब उनके सर्वोच्च बलिदान का प्रतीक है. श्री गुरु तेग बहादुर जी की याद में उनके शहीदी स्थल पर जो गुरुद्वारा बना है, उसे गुरुद्वारा श्री शीश गंज साहिब के नाम से जाना जाता है.